दुमका
झारखंड में दुमका जिला के रामगढ़ थाना क्षेत्र के कड़बिंधा में छह साल की बच्ची के साथ गैंगरेप और हत्या के मामले में सोमवार को रातभर कोर्ट में सुनवाई चली. डिस्ट्रिक्ट सेशन जज मोहम्मद तौफिकुल हसन की कोर्ट में सुनवाई चली. इस दौरान तीनों आरोपी कोर्ट में मौजूद रहे.
कोर्ट ने साबित कर दिया कि आतंक संबंधी मामलों में ही नहीं बल्कि वहशी दरिंदों को भी सजा दिलाने के लिए अदालत रात को खुलती है. हिंदुस्तान के इतिहास में शायद यह सबसे तेज ट्रायल होगा जब एक महीने के अंदर ही गैंग रेप और हत्या के आरोपियों को सजा सुनाई गई हो.
गौरतलब है कि 5 फरवरी को रिश्ते में चाचा लगने वाले मिट्ठू राय अपने छह साल की भतीजी को चॉकलेट और बैलून दिलाने का झांसा देकर घर से ले गया और अपने दो दोस्तों के साथ मिलकर उस मासूम का गैंग रेप किया. असहनीय पीड़ा से जब बच्ची बेहोश हो गई तो उसका गला दबा कर हत्या कर दी और लाश छिपाने के लिए मिट्टी में दबा दिया.
इस अमानवीय घटना को अंजाम देकर तीनों आरोपी पीड़िता के घर ही जा कर सो भी गए. घर वाले बच्ची को रात भर ढूंढते रहे और तीनों दरिंदे चैन की सांस सोते रहे. तड़के 3 बजे ही तीनों जरूरी काम की बात कहकर फरार हो गए.
घटना के दो दिन बाद 7 फरवरी को बच्ची की लाश मिली. फरार मुख्य आरोपी मिट्ठू राय को पुलिस ने 13 फरवरी को मुंबई के कल्याण रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार किया. उसकी शिनाख्त पर दो अन्य आरोपियों को गोड्डा जिला के पौडयाहाट से गिरफ्तार किया गया. इस घटना की क्रूरता को देखते हुए कोर्ट ने सभी मामले की तारीखे आगे बढ़ा दी और इस मामले पर लगातार सुनवाई करती रही. मामले में और स्पीडी ट्रायल के लिए डिस्ट्रिक्ट सेशन जज ने सुबह से लेकर देर रात तक आरोपियों के बयान और सुनवाई जारी रखा ताकि इन दरिंदों को सजा सुनाई जा सके.