रायपुर
छत्तीसगढ़ के किसानों की हालत सुधारने वर्ल्ड बैंक 1600 करोड़ रुपए सरकार को देगा। प्रदेश के अफसरों का दावा है कि यह पहली बार है जब इस तरह की मदद राज्य को मिल रही है। गुरूवार को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से वर्ल्ड बैंक के कंट्री हेड जुनैद कमाल ने मुलाकात की। मुख्यमंत्री ने उन्हें नरवा, गरवा और घुरूवा योजना के बारे में बताया। इस योजना को वर्ल्ड बैंक कंट्री हेड ने सराहा। अब बैंक की मदद से सरकार बस्तर, सरगुजा, बलौदा बाजार के कमजोर वर्ग के किसानों के विकास का काम करेगी। किसानों के लिए उन्नत तकनीक के उपकरण, खेती के तरीकों की जानकारी, उत्पादन को बढ़ाने, विक्रय बढ़ाने और फूड प्रोसेसिंग यूनिट लगाने के काम होंगे।
मुख्यमंत्री ने बताया कि हम गांव के महिला स्वसहायता समूहों और युवाओं को जोड़ रहे हैं। योजना से पशुओं से फसल बचाने के लिए खेतों को घेरने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी, किसानों को जैविक खाद उपलब्ध होगी, कृषि लागत कम होगी, लोगों को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे। उन्होंने बताया कि प्रदेश में दो हजार गौठानों के निर्माण की स्वीकृति दी गई है जिनमें से लगभग डेढ़ हजार गौठान बन गए हैं। बाड़ी योजना में किसानों के घरों की बाड़ी में सब्जियों और मौसमी फलों के उत्पादन को बढ़ावा दिया जा रहा है।
अपर मुख्य सचिव और कृषि उत्पादन आयुक्त केडीपी राव ने बताया कि सरकार, छत्तीसगढ़ इंक्लूसिव रूरल एग्रीकल्चरल ग्रोथ (चिराग) प्रोजेक्ट ले कर आ रही है। इसके तहत किसानों को आत्मनिर्भर बनाने का खास कार्यक्रम चलाया जाएगा। इसके तहत पशुपालन, मत्सय पालन, हार्टिकल्चर और पारंपरिक खेती के कामों में नए बदलाव लाकर किसानों को खुशहाल बनाने का काम होगा। दिसंबर तक हम इसकी रिपोर्ट पेश करेंगे वर्ल्ड बैंक से इस पर बात-चीत के बाद पैसे भी आने शुरू हो जाएंगे। प्रोजेक्ट चलता रहेगा और बैंक किसानों की जरूरत के हिसाब से रकम देगा।