नई दिल्ली
दिल्ली हिंसा में मरने वालों का आंकड़ा 27 तक जा पहुंचा है. आज दिल्ली हाईकोर्ट में फिर इस मसले पर सुनवाई होनी है. भड़काऊ बयानों को लेकर एफआईआर दर्ज करने से जुड़ी याचिका पर पुलिस को दिल्ली हाईकोर्ट में जवाब देना है. उधर बुधवार को दिल्ली हिंसा की सुनवाई करने वाले जज का तबादला हो गया है. अब इस मामले की सुनवाई चीफ जस्टिस डीएन पटेल की अगुवाई वाली बेंच करेगी.
इससे पहले नॉर्थ ईस्ट दिल्ली में हुई हिंसा पर बुधवार को दिल्ली हाई कोर्ट में अहम सुनवाई हुई. सुनवाई के दौरान हिंसा पर काबू पाने में नाकाम रही पुलिस को कोर्ट ने जमकर फटकार लगाई. कोर्ट ने पुलिस को नोटिस जारी कर गुरुवार को सवा दो बजे कोर्ट में जवाब दाखिल करने को कहा. कोर्ट ने पुलिस कमिश्नर अमूल्य पटनायक को भी भड़काऊ भाषण के वीडियो देखने के बाद कोर्ट में जवाब देने का निर्देश दिया. बाद में मामले को गुरुवार तक के लिए स्थगित कर दिया गया.
जस्टिस एस. मुरलीधर का तबादला
अचानक शाम होते-होते खबर आ गई कि दिल्ली हिंसा की सुनवाई करने वाले हाई कोर्ट के जज का तबादला कर दिया गया है. जस्टिस एस. मुरलीधर को दिल्ली हाई कोर्ट से पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट भेजा गया है. राष्ट्रपति भवन से जस्टिस एस. मुरलीधर के तबादले की अधिसूचना भी जारी कर दी गई है.
12 फरवरी को हुआ था ट्रांसफर
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भारत के मुख्य न्यायाधीश एसए बोबड़े के साथ बातचीत करने के बाद जस्टिस एस. मुरलीधर का तबादला दिल्ली हाई कोर्ट से पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में किया है. इसके साथ ही उन्हें अपने कार्यालय का प्रभार संभालने का निर्देश भी दिया है, लेकिन जानकारी के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने 12 फरवरी को हुई अपनी बैठक में दिल्ली हाई कोर्ट के जस्टिस एस. मुरलीधर को पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में ट्रांसफर करने की सिफारिश की थी.
तबादले की टाइमिंग को लेकर सवाल
12 फरवरी की सिफारिश के बाद 26 फरवरी को हुए तबादले की टाइमिंग को लेकर अब सवाल खड़े हो रहे हैं, क्योंकि बुधवार की सुनवाई में दिल्ली हाई कोर्ट ने पुलिस को भड़काऊ बयान देने वाले नेताओं, जिनमें कपिल मिश्रा, परवेश शर्मा और अनुराग ठाकुर के खिलाफ कार्रवाई ना कर पाने को लेकर पुलिस को जमकर फटकार लगाई थी. कोर्ट ने इसको लेकर गुरुवार यानी आज पुलिस कमिश्नर से जवाब मांगा था. इसके बाद ही उनके तबादले की खबर आ गई.