इन दिनों पटाखों और पराली के कारण दिल्ली और आस-पास के इलाकों में हवा में बढ़ता जा रहा प्रदूषण का मुद्दा सुर्खियों में छाया हुआ है। दिनों दिन बढ़ते इस प्रदूषण के कारण लोगों को कई तरह की समस्याएं जैसे आंखों में जलन, सांस लेने में तकलीफ और सर्दी जुकाम से जूझना पड़ रहा हैं। ऐसी परिस्थिति में सही खुराक और डिटॉक्स के जरिए प्रदूषण से बचा सकता है। साथ ही डॉक्टरी दवा के साथ-साथ घरेलू नुस्खों से इन तमाम बीमारियों में बहुत हद तक राहत पाई जा सकती है। एयर प्यूरीफायर और मास्क का भी इस्तेमाल करके इस प्रदूषण से बचा जा सकता है।
लेकिन इन सभी हिदायतों के बीच जरूरी है कि हमें ऐसी सब्जियों का चयन करना चाहिए जो हमें अंदरुनी तौर पर स्वस्थ बनाएं। हाल ही में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने भी रोज की डाइट में एंटीऑक्सीडेंट युक्त फल और सब्जियों को शामिल करने की सलाह दी थी। ताकि इस प्रदूषण से होने वाले नुकसान की भरपाई की जा सके। इसी सब्जियों की लिस्ट में शामिल है हरी फूल गोभी यानी कि 'ब्रोकली'। जिससे डाइट में शामिल करने के बहुत से सकारात्मक प्रभाव मिलते हैं।
क्यों है ब्रोकली मददगार?
न्यूट्रिशिंयस से भरी ब्रोकली असल में एक सुपरफूड है, जो ढे़र सारे फाइबर से भरी है। यही फाइबर डाइजेशन और बॉडी में भरे टॉक्सिन्स से लड़ने में लाभदायक है। इतना नहीं हरी फूल गोभी या ब्रोकली हमें प्रदूषित हवा और पानी, और कैंसर कारक तत्वों से होने वालें टॉक्सिन से भी बचाती है।
कैंसर से बचाव
असल में ब्रोकली शरीर से अशुद्ध तत्वों को निकाल कर उसमे अच्छे एंटीऑक्सीडेंट, विटामिन, बीटा कैरोटिन, बी कॉम्पलेक्स, फॉलिक एसिड, मिनरल्स जैसे तत्वों को पहुंचाती है। इन्हीं सभी की मदद से हम पेट में होने वाली जलन व स्थाई बीमारियों से बचते हुए कोशिकाओं को मजबूत करती है। इसी के साथ इस चमत्कारी हरी गोभी ब्लड में शुगर के लेवल को स्थाई रखने के साथ ही हमारे गट का भी बेहतर ख्याल रखती है। इसमें पाए जानें वाले गुणकारी तत्वों की वजह से कैंसर जैसी जानलेवा बीमारियों के चांस भी कम हो जाते है।
एंटी पॉल्युशन सब्जी है
ब्रोकली को ‘एंटी पॉल्युशन' सब्जी इसलिए भी माना जाता है क्योंकि यह हमें पॉल्युशन से होने वाली तमाम बीमारियों से बचाती है। इसी मुद्दें पर चाइना में हुई एक स्टडी में भी जाहिर हो चुका है कि ब्रोकली के स्प्राउट्स की वजह से ही शरीर में हवा में हुए पॉल्युशन के नुकसान को जड़ से मिटा देते हैं। क्योंकि जब हम ब्रोकली खाते है तो उसमें मौजूद ‘फोटोकेमिकल' शरीर में पहुंचकर बहुत जल्दी पॉल्युशन से होने वाले नुकसान की भरपाई करने लगता है। इसी वजह से शरीर से ऐसे टॉक्सिन निकल जाते है जो पॉल्युशन के साथ-साथ तम्बाकू के सेवन के वजह से शरीर में पहुंचती हैं।
जूस, स्मूदी और चाय से करें डिटॉक्स
बॉडी को डिटॉक्स करने के लिए ब्रोकली को जूस, स्मूदी, सूप के जरिए अपनी डाइट में शामिल किया जा सकता हैं। हाल ही में हुए एक शोध में निषकर्ष आया है कि जिन लोगों ने ब्रोकली के स्प्राउट्स से बनी चाय पी, उनमें 64 प्रतिशत लोगों की बॉडी से ‘बेनजेन' (एक तरह का केमिकल जो कि क्रूड ऑइल में पाया जाता है), शरीर से निकला और 23 प्रतिशत लोगों की बॉडी से ‘आर्किलोन' (एक तरह का केमिकल, जिससे आंखों में जलन की समस्या शुरू होने लगती है) निष्कासित हुआ है।