नई दिल्ली
राष्ट्रीय राजधानी समेत पूरे देश में फैले कोरोना वायरस के डर के बीच दिल्ली के शाहीन बाग के प्रदर्शनकारियों ने धरना जारी रखने का ऐलान किया है. एक तरफ जहां दिल्ली सरकार सभी स्कूलों-कॉलेजों को बंद करने के आदेश जारी कर चुकी है. सिनेमाघरों, स्विमिंग पूल जैसे मनोरंजन के सामूहिक स्थानों पर भी लोगों के जुटने पर पाबंदी लगा दी गई है. वहीं शुक्रवार देर रात प्रदर्शनकारियों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके धरना जारी रखने की बात कही है. बता दें कि कोरोना वायरस के संक्रमण से बचने के लिए दिल्ली सरकार ने सार्वजनिक आयोजनों पर भी रोक लगा दी है और भीड़ वाली जगह पर ना जाने की सलाह दी है.
शाहीन बाग की प्रदर्शनकारी महिलाओं ने गृहमंत्री अमित शाह से जामिया हिंसा मामले में सीसीटीवी फुटेज की जांच के अपील की है. इसके अलावा दिल्ली में हिंसा भड़काने के आरोप में कपिल मिश्रा और अनुराग ठाकुर के खिलाफ एफआईआर की मांग की है. प्रदर्शनकारियों ने कहा कि अमित शाह यह झूठ बोलते हैं कि इस कानून के तहत किसी की नागरिकता नहीं ली जाएगी जबकि यह कानून मुसलमानों की नागरिकता छीनने के लिए बनाया गया है.
गौरतलब है कि दिल्ली के शाहीन बाग इलाके में नागरिकता संशोधन कानून (CAA), नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजंस (NRC) और नेशनल पॉपुलेशन रजिस्टर (NPR) के खिलाफ पिछले तीन महीने से धरना प्रदर्शन जारी है. महिलाएं सीएए-एनआरसी के खिलाफ 15 दिसंबर 2019 से 24 घंटे आंदोलन कर रही हैं. प्रदर्शनकारी महिलाओं का कहना है कि जब तक सरकार सीएए, एनआरसी और एनपीआर को वापस नहीं लेगी हम पीछे नहीं हटेंगे.