नई दिल्ली
गार्गी कॉलेज के फेस्टिवल 'रेवरी' के दौरान बाहरी लोगों द्वारा छात्राओं से छेड़छाड़ के मामले के तूल पकड़ने के बाद कॉलेज प्रशासन हरकत में आया है। कॉलेज की प्रिंसिपल डॉक्टर प्रोमिला कुमार ने पूरे मामले की जांच के लिए हाई-लेवल फैक्ट फाइंडिंग कमिटी बनाई है। यह कमिटी शिकायत करने वाली छात्राओं, चश्मदीदों और अन्य लोगों से मिलकर पूरे मामले की समयबद्ध जांच करेगी। कॉलेज प्रशासन जल्द ही पुलिस में शिकायत दर्ज कराएगा।
गार्गी कॉलेज की प्रिंसिपल डॉक्टर प्रोमिला कुमार ने रविवार को बताया कि कमिटी समयबद्ध तरीके से रिपोर्ट तैयार करेगी और अगर शिकायतकर्ता छात्राएं चाहेंगी तो कमिटी पुलिस में रिपोर्ट दर्ज कराएगी। उन्होंने बताया कि मामले की गोपनीय जांच के लिए स्टूडेंट्स के सामने कॉलेज की इंटरनल कमिटी में शिकायत दर्ज कराने का भी विकल्प होगा।
कुमार ने बताया कि गार्गी कॉलेज जितना जल्दी हो सकेगा पुलिस में शिकायत दर्ज कराएगा ताकि दोषियों को इंसाफ के कटघरे में लाया जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि सिक्यॉरिटी प्रोटोकॉल बनाया जाएगा ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हो सकें।
अडिशनल डीसीपी करेंगे सभी पहलुओं की जांच
दिल्ली पुलिस ने गार्गी कॉलेज में 6 फरवरी को बाहरियों द्वारा छात्राओं से छेड़छाड़ के मामले में केस दर्ज कर लिया है। कॉलेज प्रशासन से मिली शिकायत के आधार पर हौज खास पुलिस स्टेशन में आईपीसी की धारा 452, 354, 509, और 34 के तहत केस दर्ज किया गया है। डीसीपी साउथ अतुल ठाकुर ने बताया, 'क्राइम अगेंस्ट विमिन (CAW) सेल के एक इंस्पेक्टर को इस केस का इन्वेस्टिगेशन ऑफिसर बनाया गया है। अडिशनल डीसीपी (साउथ) को इन्क्वॉयरी ऑफिसर की जिम्मेदारी दी गई है जो इस केस से जुड़े तमाम पहलुओं की जांच करेंगे।'
दिल्ली महिला आयोग ने गार्गी कॉलेज और पुलिस को भेजा नोटिस
दूसरी तरफ दिल्ली महिला आयोग (डीसीडब्ल्यू) ने दिल्ली पुलिस और गार्गी कॉलेज को छात्राओं के 'उत्पीड़न' मामले में कथित तौर पर कोई कार्रवाई नहीं करने को लेकर सोमवार को नोटिस भेजा। आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने घटना के संबंध में कॉलेज में कई छात्राओं से बातचीत भी की। मालीवाल ने कहा, 'हमने दिल्ली पुलिस और गार्गी कॉलेज को कार्रवाई नहीं करने पर नोटिस जारी किया है। हम घटना की खुद जांच करेंगे। हम मामले की विस्तृत जांच और आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग करते हैं।'
मालीवाल ने कहा कि दिल्ली पुलिस और गार्गी कॉलेज ने इस प्रकार की गंभीर घटना पर जिस प्रकार से प्रतिक्रिया दी है, वह गैरजिम्मेदाराना है। मालीवाल ने कहा, 'लड़कियों ने बयान दिए हैं और दुखद अनुभव साझा किए हैं। कॉलेज प्रशासन ने कार्रवाई करने और शिकायत दर्ज कराने की जगह छात्राओं से कहा कि अगर वे सुरक्षित महससू नहीं करतीं तो उन्हें कॉलेज के कार्यक्रम में हिस्सा नहीं लेना चाहिए।'