लखनऊ
यूपीपीसीएल के पीएफ घोटाला में दो ब्रोकर फर्मों के चार्टड एकाउन्टेंट (सीए) ने ईओडब्ल्यू के अफसरों को निवेश से जुड़ी कई महत्वपूर्ण जानकारियां दी। एक सीए ने बताया कि किस तरह से कम्पनी ने टुकड़ों में निवेश किया, फिर कैसे-कैसे कमीशन में बंदरबाट हुई।
ईओडब्ल्यू के एक अधिकारी ने बताया कि सीए को ब्रोकर फर्म के अलावा यूपीपीसीएल के अफसरों से मिलीभगत के बारे में भी कुछ पता है। इस सम्बन्ध उनसे मिली जानकारियों का विभाग से जब्त किये गए दस्तावेजों से मिलान कराया जायेगा। ब्रोकर फर्म को कमीशन मिलने के मामले में भी सीए की अहम भूमिका रही। सीए की मदद से कई ऐसे दस्तावेज बनाये गए जिनकी वजह से लम्बे समय तक यह घोटाला पकड़ में नहीं आया।
ईओडब्ल्यू अफसरों का कहना है कि कुछ और फर्मों के सीए को भी पूछताछ के लिये बुलाया गया है। अभी किसी सीए के खिलाफ कार्रवाई की बात नहीं है लेकिन अगर कहीं पर ये ज्यादा मिलीभगत के आरोपी मिलते हैं तो एफआईआर में इनके नाम भी बढ़ाये जा सकते हैं। इस घोटाले की विवेचना में शामिल दो विवेचक जल्दी ही दिल्ली और उत्तराखंड सुबूत जुटाने के लिये भेजे जायेंगे।