भोपाल. मध्य प्रदेश में बारिश को लेकर सियासत तेज हो गई है. पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक महीने का वेतन देकर कमलनाथ सरकार पर निशाना साधा है, तो उनके साथ नरोत्तम मिश्रा और भूपेंद्र सिंह ने भी सरकार की घेराबंदी की. विपक्ष के इस हमले का जबाव मुख्यमंत्री कमलनाथ के मंत्री पीसी शर्मा ने दिया. उन्होंने कहा कि शासन-प्रशासन मुस्तैद है, किसी को नेतागिरी करने की जरूरत नहीं है. शर्मा ने शिवराज पर तंज कसते हुए कहा कि एक महीने का वेतन देना ऐसा है, जैसे कि वह (शिवराज) उंगली कटवाकर शहीदों में नाम लिखवा रहे हैं.
यकीनन बीजेपी सरकार पर हमला बोल रही है, तो कांग्रेस ने पलटवार करते हुए बीजेपी को उनके 15 साल का कार्यकाल याद दिलाया. पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अपने सरकारी बंगले पर प्रेस कांफ्रेस कर कहा कि अतिवृष्टि के कारण हाहाकार मचा हुआ है. बारिश ने तबाही मचा दी है. मेरी मुख्यमंत्री से अपील की है कि सरकार को बाहर निकलना चाहिए. पीड़ित लोगों से मिलना चाहिए, राहत देनी चाहिए. पहले से तैयारी होनी चाहिए थी, लेकिन अब युद्ध स्तर पर काम करना चाहिए. अगर ऐसा नहीं हुआ तो भाजपा सड़कों पर आंदोलन करेगी.
शिवराज ने दिया 1 महीने का वेतन
शिवराज सिंह चौहान ने मंदसौर के बाढ़ पीड़ितों को अपना 1 महीने का वेतन दिया है. उन्होंने कहा कि मैं सभी लोगों से अपील करता हूं कि बाढ़ पीड़ितों की हर संभव मदद करें. शिवराज ने कहा, 'किसानों की फसलें नष्ट हो गई हैं और मैं बैरसिया से अपना दौरा शुरू कर रहा हूं. कर्ज माफी का वचन अभी पूरा नहीं किया. किसान डिफाल्टर हुआ तो उसे खाद बीज नहीं दिया. किसान तबाह और बर्बाद हो चुका है, सरकार तत्काल सहायता प्रदान करे. वैसे कई जगहों पर सर्वे शुरू नहीं हुआ है. परिस्थिति की गंभीरता को समझा नहीं जा रहा, इसलिए मैं समझाने निकल रहा हूं.'
साथ ही पूर्व सीएम ने कहा कि प्रदेश की जनता मुझे सोशल मीडिया के जरिए कहां-कहां फसल बर्बाद हुई है, इस बाबत जानकारी दे सकती है. जबकि उन्होंने कमलनाथ सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि जल्द मुआवजा नहीं दिया तो सड़कों पर आंदोलन करेंगे. वहीं भाजपा प्रधानमंत्री के जन्मदिन पर सेवा सप्ताह बाढ़ पीड़ितों की सेवा कर मना रही है. इस दौरान शिवराज के साथ पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा और भूपेंद्र सिंह ने भी सरकार पर जमकर निशाना साधा.
कांग्रेस ने भाजपा पर किया पलटवार
पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के बयान पर मंत्री पीसी शर्मा ने पलटवार किया. उन्होंने कहा, 'हमारी सरकार में पहली बार इतनी बारिश हुई है. 15 साल में शिवराज सिंह चौहान कुछ नहीं कर पाए. पहले खेतों में जाना था अब जाने से क्या होगा. सरकार बाढ़ पीड़ितों की हर संभव मदद कर रही है. प्रशासन मुस्तैद है. इस मुद्दे पर नेतागिरी करने की जरूरत नहीं है.'
शर्मा ने कहा कि एक महीने का वेतन देना ऐसा है, जैसे की शिवराज उंगली कटवाकर कर शहीदों में नाम लिखवा रहे हैं. एक लाख सवा लाख वेतन होगा, वो तो हम भी देंगे. गिरते पानी में सर्वे करने में दिक्कत आ रही है, हमने आकलन किया है. सभी को मुआवजा मिलेगा. सीएस पीएमओ से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर बाढ़ की स्थिति के बारे में बताएंगे. सेना की जरूरत है. मंदसौर की स्थिति पर शासन-प्रशासन की नजर है.' जबकि पीसी शर्मा ने नरोत्तम मिश्रा के बयान पर कहा कि 15 साल में भ्रष्टाचार के अलावा कुछ नहीं किया. भ्रष्टाचार से कमाए पैसों को बाढ़ पीड़ितों और किसानों को देना चाहिए.