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लखनऊ के घंटाघर से जुलूस निकालने में 8 प्रदर्शनकारी गिरफ्तार

लखनऊ

नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में 17 जनवरी से घंटाघर पर जारी प्रदर्शन गुरुवार रात उग्र हो गया। महिलाओं के साथ धरने में शामिल युवक कैंडिल मार्च निकालने का प्रयास करने लगे। पुलिस के रोकने पर वह लोग हमलावर हो गए। इस पर आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया। गुरुवार को घंटाघर पर 19 दिसंबर को हुए हिंसक प्रदर्शन में शामिल होने के आरोप में गिरफ्तार हुए रिहाई मंच के मो. शोएब व दीपक कबीर भी शामिल हुए थे।

एडीसीपी विकास चन्द्र त्रिपाठी के मुताबिक गुरुवार रात नादान महल रोड निवासी मो. ताहिर, हुसैनाबाद निवासी जुगनू, नाका निवासी मो. शान खान, बिजनौर निवासी रहबर, हसनगंज निवासी दाउद, डालीगंज निवासी शावेज और बीकेटी निवासी तुफैल सिद्दीकी को गिरफ्तार किया गया है। वहीं, एक पुराने मामले में ठाकुरगंज निवासी शफीक को भी गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने बताया कि गुरुवार को धरने में शामिल युवकों के एक गुट ने प्रदर्शनकारी महिलाओं की सहूलियत के लिए टेंट लगाने की तैयारी कर ली थी। टेंट हाउस से कनात व गद्दे मंगाए जा चुके थे। युवकों के इस कदम की भनक लगते ही मौके पर मौजूद एसआई राहुल द्विवेदी ने टेंट लगाने का प्रयास कर रहे युवकों को रोक दिया। योजना विफल होने से प्रदर्शनकारी युवक आक्रोशित होकर पुलिस से उलझ गए। 

कैंडल मार्च निकालने से रोका
प्रदर्शन के दौरान शुक्रवार को कैडिंल मार्च निकाले जाने की तैयारी थी। हाथों में मोमबत्ती लेकर लोग पार्क में जमा भी होने लगे जिन्हें चेतावनी देने के बाद हटाया गया। 

पुलिस से उलझने पर दर्ज हुआ मुकदमा
ठाकुरगंज थाने में तैनात दरोगा राहुल द्विवेदी ने गुरुवार रात दीपक कबीर, रिहाई मंच के मो. शोएब, नदीम अंसारी, मो. सैफ, उज्जमा परवीन और शफीक को आरोपी बनाया है। दरोगा के अनुसार प्रदर्शनकारियों को जुलूस निकालने और टेंट लगाने से मना किया था। इस पर आरोपियों ने पुलिस पर हमला करते हुए कानून व्यवस्था बिगाड़ने का प्रयास किया और सरकारी कार्य में बाधा डाली। एसीपी चौक दुर्गा प्रसाद तिवारी ने बताया कि अन्य आरोपियों की तलाश में टीमें बनाकर दबिश दी जा रही है।

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