मध्य प्रदेश

राज्य सरकार प्रदेश के सरकारी और गैर सरकारी स्कूलों में संचालित वाहन पर कसेगी शिकंजा

भोपाल
सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर अब राज्य सरकार प्रदेश के सरकारी और गैर सरकारी स्कूलों में संचालित वाहन संचालकों और वाहन चालकों पर शिकंजा कसेगी। बिना हेलमेट और बिना लाइसेंस वाले दुपहिया वाहनों को स्कूल परिसर में प्रवेश नहीं दिया जाएगा।

सुप्रीम कोर्ट कमेटी आॅन रोड सेफ्टी के पत्र पर स्कूल शिक्षा विभाग यह कड़ाई करने जा रहा है। सभी स्कूलों में अब बिना लाइसेंस और बिना हेलमेट के दो पहिया वाहन चलाने वाले छात्रों को स्कूल परिसर में प्रवेश नहीं दिया जाएगा। आरटीओ, ट्रेफिक पुलिस और प्राचार्य की टीम इसके लिए संयुक्त निरीक्षण करेगे।  उन वाहन मालिकों के खिलाफ भी कार्यवाही की जाएगी जो अपने वाहनों को कम उम्र के बालकों को संचालित करने के लिए अनुमति देते है।

स्कूली बच्चों को लाने और ले जाने वाली सभी बसों, वैन और तिपहिया वाहनों की वाहन क्षमता भी परिवहन वाहनों के अंदर और बाहर दोनो जगह प्रदर्शित करना होगा। स्कूल के स्वामित्व वाली, प्रबंधित और संचालित सभी स्कूल बसों के खिलाफ कानून के तहत उचित कार्यवाही की जाएगी। निर्धारित वाहन क्षमता से अधिक स्कूली बच्चों को लेकर जाने वाली परिवहन बसों और तिपहिया वाहनों पर भी कार्यवाही की जाएगी। इन निर्देशों का पालन करते हुए स्कूल शिक्षा विभाग को भी अवगत कराना होगा।

सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए जिन जिलों, संस्थाओं और व्यक्तियों तथा पुलिस शासकीय सेवकों द्वारा उत्कृष्ट कार्य किया जाएगा उन्हें पुरस्कृत किया जाएगा। सड़क दुघर्टना  एवं उसमें होने वाली मृत्यु में कमी लाने के लिए किए गए कार्यो हेतु पुरस्कार की अनुसंश भी शिक्षा विभाग करेगा।

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