छत्तीसगढ़

जल-जनित संक्रामक बीमारियों की संभावनाओं के कारण संपूर्ण जिला छह माह के लिए अधिसूचित घोषित

राजनांदगांव
कलेक्टर श्री जयप्रकाश मौर्य ने जिले में गर्मी एवं वर्षा ऋतु के प्रारंभ में जन-जनित संक्रामक बीमारियों की संभावना के कारण संपूर्ण जिले को आगामी छह माह के लिए अधिसूचित क्षेत्र घोषित किया है। कलेक्टर कार्यालय द्वारा इस संबंध में आदेश जारी कर दिया गया है।

आदेश मंे कहा गया है कि गर्मियों तथा बरसात शुरू होते ही जल-जनित संक्रामक रोग जैसे उल्टी, दस्त, आंत्रशोथ, पीलिया आदि फैलने का खतरा प्रारंभ हो जाता है। इन बीमारियों को प्रभावशाली तरीके से नियंत्रण के उपाय हर स्तर पर किया जाना आवश्यक होता है। कलेक्टर श्री मौर्य ने छŸाीसगढ़ आपŸिाक हैजा, जठर, आंत्रशोथ तथा संक्रामक यकृतशोथ अधिनियम 1983 के अंतर्गत प्राप्त अधिकारों को प्रयोग में लाते हुए विनियम के नियम तीन के अधीन पूरे जिले को अधिसूचित क्षेत्र घोषित किया है।

आदेश में यह भी कहा गया है कि जिले के विभिन्न शहरों, हाट-बाजारों, तहसील एवं विकासखंड मुख्यालय के बाजारों, बस स्टैण्डों के होटलों, दुकानों, ग्रामीण क्षेत्रों के हाट-बाजारों एवं अन्य साधनों से सडे़-गले फल, मानव खाद्य के लिए रोगग्रस्त या अशुद्ध या अस्वास्थ्य कर साग-सब्जियां, मिठाईयां, मास-मछलियां, मानव उपयोग के लिए पेय पदार्थ जैसे बर्फ, आइस्क्रीम, शीतल पेय, गंदा गन्ना रस आदि बेचे जाने से हैजा, आंत्रशोथ, पेचिस एवं संक्रामक बीमारी होने की संभावना बढ़ जाती है। इस प्रकार की हानिकारक वस्तुओं की बिक्री रोकने के लिए छत्तीसगढ अ़ापŸिाक हैजा, जठर, आंत्रशोथ तथा संक्रामक यकृतशोथ अधिनियम 1983 के नियम दो (ज) में विनिर्दिष्ट अधिकारियों को लगातार निरीक्षण व सघन अभियान चलाने के निर्देश दिए गए हैं। इन अधिकारियों में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक जिला चिकित्सालय राजनांदगांव, खंड चिकित्सा अधिकारी एवं जिले के समस्त नगर निगम क्षेत्र, नगर पालिका, नगर पंचायत अधिकारी शामिल हैं।

मौर्य ने आदेश में यह भी कहा है कि महत्वपूर्ण रेल्वे स्टेशनों, बस स्टैण्डों एवं सार्वजनिक स्थानों पर यात्रियों को हैजा का टीका लगाने की समुचित व्यवस्था स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों द्वारा की जाएगी। यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू हो गया है।

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