भारत अरब सागर में उठे विकराल चक्रवाती तूफान ‘निसर्ग’ का सामना करने भारत तैयार
नई दिल्ली. इस बार मौसम देश में जल्दी दस्तक दे सकता है। सोमवार को केरल में दस्तक दे चुका है, जिसके कारण वहां के अधिकांश इलाकों में झमाझम बारिश हो रही है। अब उम्मीद है कि देश के अन्य राज्यों में भी मानसून समय पर पहुंच जाएगा। इसी को देखते हुए मौसम विभाग ने पूर्व अनुमान के दूसरे चरण का ऐलान करते हुए दोहराया कि 41 प्रतिभत संभावना है कि इस बार मानसून सामान्य रहेगा, जबकि इस बात की मात्र पांच प्रतिशत ही आशंका है कि मानसून सामान्य से कम हो सकता है।
90 से 100 किलोमीटर तक जा सकती है हवा की रफ्तार
बता दें कि कुछ दिन पहले ही बंगाल की खाड़ी में उठे महाचक्रवात अम्फान को झेलने के बाद अब भारत अरब सागर में उठे विकराल चक्रवाती तूफान ‘निसर्ग’ का सामना करने के लिए तैयार है। एनडीआरएफ के महानिदेशक की माने तो यह एक विकराल तूफान है, जिसमें हवा की रफ्तार 90 से 100 किलोमीटर तक जा सकती है। फिलहाल इस बात से राहत है कि इसकी रफ्तार अम्फान से कम होगी।
उधर, मौसम विभाग इस तूफान पर लगातार नजर बनाए हुए है। उसकी ओर से कहा गया है कि 12 घंटे में यह एक विकराल चक्रवाती तूफान में बदल जाएगा। यह तूफान 3 जून को दोपहर के बाद महाराष्ट्र, गुजरात और दमन के तट से टकाएगा। महाराष्ट्र में इसका असर रायगढ़ में ज्यादा देखने को मिल सकता है।
अगले 24 घंटे में मचा सकता है तबाही
उधर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने पश्चिमी समुद्री तट की ओर बढ़ रहे चक्रवाती तूफान निसर्ग के मद्देनजर गुजरात और महाराष्ट्र में की जा रही तैयारियों का सोमवार को जायजा लिया। इसके साथ ही उन्होंने दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों को किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए हर संभव केंद्रीय मदद का भरोसा दिया।
चक्रवाती तूफान के उत्तर कोंकण के किनारे आने के अनुमान के चलते एनडीआरएफ की टीमें संभावित इलाकों में तैनात कर दी गई हैं। मुम्बई, ठाणे के साथ पालघर में भी रेड अलर्ट जारी किया गया है। पालघर में एनडीआरएफ की दो टीमें तैनात की गई हैं। यह मंगलवार सुबह से समुद्र किनारे बसे गांवों में जाकर मकानों के सर्वे करेंगी। जिला प्रशासन की तरफ से कच्चे मकानों में रहने वालों को स्कूल और दूसरे सुरक्षित ठिकानों पर ले जाने का आदेश कल ही जारी कर दिया गया था। साथ ही मछुआरों को भी अपनी नाव वापस लाने को कहा गया है। बीएसमी ने ट्विटर के माध्यम से जानकारी दी है कि सभी लोगों को सुरक्षित इलाकों में पहुंचाया जा रहा है।
हालांकि तूफान का असर बाकी राज्यों जैसे दिल्ली, हरियाणा, पंजाब राजस्थान, उत्तर प्रदेश, झारखंड, बिहार, मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में नहीं पड़ेगा। मौसम विभाग का कहना है कि भारत मौसम विज्ञान विभाग के क्षेत्रीय पूर्वानुमान केंद्र की माने तो मौजूदा पश्चिमी विक्षोभ और तेज हवाओं का असर काफी कम हो जाएगा। उन्होंने कहा कि एक जून से तीन जून तक दिल्ली-एनसीआर में अधिकतम तापमान में दो से चार डिग्री सेल्सियस की वृद्धि होने की संभावना है।