नई दिल्ली
बजट भाषण में निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2020-21 के लिए विकास दर का अनुमान 10 फीसदी रखा है। उन्होंने कहा कि आगामी वित्त वर्ष में सरकार की कुल कमाई का अनुमान 22.46 लाख करोड़ रुपये और कुल खर्च 30.42 लाख करोड़ रुपये है। उन्होंने कहा कि चालू वित्त वर्ष 2019-20 के लिए संशोधित अनुमानित खर्च 26.99 लाख करोड़ और कमाई 19.32 लाख करोड़ रुपये आंकी गई हैं।
वित्त वर्ष 2021 में उधारी 5.36 लाख करोड़
वित्त वर्ष 2019-20 में सरकार की शुद्ध बाजार उधारी 4.99 लाख करोड़ रहेंगी। अगले वित्त वर्ष के दौरान यह बढ़ कर 5.36 लाख करोड़ रुपये तक रहने का अनुमान है। उन्होंने कहा कि टैक्स कलेक्शन में उछाल आने में समय लगेगा, क्योंकि हाल में कॉर्पोरेट टैक्स की कटौती के चलते अल्प काल में कर संग्रह घट सकता है। लेकिन इसका अर्थव्यवस्था को भारी लाभ होगा होगा।
घाटे का लक्ष्य 3.5 फीसदी रखा गया
वित्तवर्ष 2021 के लिए राजकोषीय घाटे का लक्ष्य 3.5 प्रतिशत रखा गया है। चालू वित्त वर्ष के लिए राजकोषीय घाटा जीडीपी का 3.8 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
NBFCs और HFCs को विशेष राहत
सीतारमण ने कहा कि सरकार से मिलने वाली राहत और छूट को छोड़ने वाले आयकरदाताओं को कर की दरों में उल्लेखनीय राहत मिलेगी। उन्होंने कहा कि एनबीएफसी और आवास वित्त कंपनियों के पास कर्ज देने को धन की कमी की समस्या का समाधान करने के लिए सरकार की तरफ से लोन गारंटी स्कीम शुरू की जाएगी।
MSMEs को कर्ज देने के नियम आसान होंगे
वित्त मंत्री ने कहा कि एनबीएफसी द्वारा लघु और मझोली इकाइयों (एमएसएमई) को बिलों के आधार पर कर्ज देने के लिए नियम कायदे संशोधित किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार ने 15वें वित्त आयोग की अंतरिम रिपोर्ट की सिफारिशों को मान लिया है और अंतिम रिपोर्ट बाद में दाखिल की जाएगी।