भोपाल
महिला-बाल विकास विभाग द्वारा अति गंभीर कुपोषित बच्चों के लिये समुदाय आधारित प्रबंधन अभियान होशंगाबाद, मुरैना, श्योपुर, गुना, खण्डवा, बुरहानपुर, छतरपुर, छिन्दवाड़ा एवं बड़वानी जिलों के बाद अब शेष 43 जिलों में भी चलाया जायेगा। आज भोपाल में सम्पन्न राज्य-स्तरीय प्रशिक्षण के प्रथम चरण में चम्बल, ग्वालियर, इंदौर, जबलपुर और भोपाल संभाग के जिलों के प्रतिभागियों को अभियान की रूपरेखा और तकनीकी जानकारी दी गई।
प्रमुख सचिव, महिला-बाल विकास अनुपम राजन ने कहा कि अभियान में अति गंभीर कुपोषित बच्चों का सही तरीके से चिन्हांकन किया जाये। उन्होंने कहा कि जिलों में प्रशिक्षण के लिये तकनीकी सहयोग भी दिया जायेगा। आयुक्त श्री नरेश पाल कुमार ने अधिकारियों को अभियान का सफल क्रियान्वयन किये जाने के निर्देश दिये।
अति गंभीर कुपोषित बच्चों के समुदाय आधारित प्रबंधन (CSAM) अभियान के अंतर्गत स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से अति गंभीर कुपोषित बच्चों की आवश्यक जाँच कर उन्हें दवाएँ प्रदाय की जायेंगी। आँगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा 5 दिवसीय केन्द्र आधारित देखभाल की जायेगी। अभियान के अंतर्गत अति कुपोषित बच्चों का 12 सप्ताह तक समुदाय स्तर पर प्रबंधन किया जायेगा। अगले 3 माह तक गृह भेंट कर फॉलोअप किया जायेगा। प्रति सप्ताह केन्द्र में उपलब्ध अतिरिक्त पोषण-आहार का उपयोग कर बच्चों को दो बार अतिरिक्त आहार अपने समक्ष माताओं के सहयोग से खिलाया जायेगा। बच्चों की जानकारी बाल पोषण प्रगति-पत्रक में दर्ज की जायेगी। पर्यवेक्षकों द्वारा सम्पर्क एप्लीकेशन के CSAM MODULE में केन्द्रवार-बच्चेवार जानकारी की प्रविष्टि की जायेगी।
प्रशिक्षण सत्र में भोपाल एम्स के डॉ. अंकुर जोशी, डॉ. अभिजीत पाखरे, यूनिसेफ के डॉ. समीर पवार, श्री तरुण पटेल, अटल बिहारी बाल आरोग्य एवं पोषण मिशन की सुश्री स्वर्णिमा शुक्ला ने अभियान के संबंध में तकनीकी जानकारी दी।